Best 29+ Hindi Poem For Class 3 | 3rd Class Hindi Poem

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Today in this post we are sharing easy to learn Best 29+ Hindi Poem For Class 3 and 3rd Class Hindi Poem. these poems children can easily understand and easily learn it.

आज के लेख में कक्षा 3 के लिए सबसे अच्छी कविता साझा कर रहा हूँ जो साधारण भाषा में अद्भुत और दिलचस्प है। यह कविता पढ़ने में बहुत ही आकर्षक है। इन कविताओं की सबसे अच्छी बात यह है कि बच्चे इसे आसानी से समझ सकते हैं और साथ ही साथ आसानी से इस कविता को याद भी कर सकते हैं।

यहां पर हिंदी में सुंदर कविताओं का एक विशाल संग्रह प्रस्तुत किया गया है। कक्षा 3 के लिए कविताएं बच्चों को प्राकृतिक सुंदरता और परिवेश की कला सिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं। कविता के अंदर आमतौर पर अपने अपने विचार होते हैं। जों कविता यहां पर प्रस्तुत किया गया है, वह प्राकृतिक सुंदरता और हमारे आस-पास के वातावरण की सराहना करने में मदद करती हैं।

सर्दी रानी

Hindi Poem For Class 3

सर्दी रानी आओ जी,

साथ रजाई लाओ जी।

चुन्नू राजा रूठ रहे,

लोरी आकर गाओ जी।

पांव हमारे ठिठुर रहे,

हीटर जरा जलाओ जी।

भूख लगी है जोरों से,

किशमिश जरा खिलाओ जी।

पढ़ना लिखना याद रहे,

ऐसा गुर सिखलाओ जी।

शिक्षक का सम्मान करें,

सुन्दर सबक पढ़ाओ जी।

-राजेंद निशेश

फल

Hindi Poem For Class 3

आम फलों का राजा है,

पीला मीठा ताजा है।

रस से भरा है इसका तन,

मोह लेता है सबका मन।

तरबूजे का मोटा पेट,

जैसे हो वो कोई सेठ।

खरबूजा उसका बेटा,

खेतों में वो है लेटा।

लीची के गुच्छे प्यारे,

बागों में लगते न्यारे।

ये सब हैं गरमी के फल,

जिनको खाकर मिलता बल।

-रेनू भटनागर

नये वर्ष की बधाई

Hindi Poem For Class 3

छोटू बन्दर बोला- भाई,

नये वर्ष की सबको बधाई।

हाथी, लोमड़, भालू, गीदड़,

गले मिलो सब भाई-भाई।

नया वर्ष सबको मंगल हो,

एक-दूजे को दो बधाई।

प्रण करें हम मिलकर सारे,

नहीं किसी से करें लड़ाई।

नये वर्ष की यही कामना,

जीवन में फैले खुशहाली।

नहीं किसी से वैर-भाव हो,

रैना सबकी हो उजियाली।

-महेन्द्र सिंह शेखावत

झण्डा ऊँचा रहे हमारा

Desh Bhakti Poem In Hindi For Class 3

झण्डा ऊँचा रहे हमारा,

दुनिया में रंग इसका न्यारा।

शान से जब लहराता यह,

सबको लगता प्यारा प्यारा।।

नीचे रंग हरा लहरायें,

हरा रंग सर-सब्ज बनाये।

आन-बान कुर्बानी का रंग,

केसरिया ऊपर लहराया।।

श्वेत हंस-सा रंग बीच में,

कैसा मन को भाता है।

विश्व-शांति भाई-चारे का,

सबको पाठ पढ़ाता है।।

फिर देखो यह चक्र निराला,

दिन हो रात चले मतवाला।

रूकने का यह नाम न लेता,

बढे चलो की सीख यह देता।।

झण्डा ऊँचा रहे हमारा,

दुनिया में यह सबसे न्यारा।।

-डॉ. देवदत्त शर्मा

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गुरु

Hindi Poem For Class 3

गुरु देते हमें ज्ञान,

हमको रखना है ध्यान।

पाठ जो वे सिखलाते,

भूल नहीं हम कभी पाते।।

सुबह सुबह पढ़ने से याद होता,

मन में बात भली भांति जम जाती।

गुरुजी मेहनत से हमें पढ़ाते,

ज्ञान दिशा की बातें याद आतीं।।

जो कुछ गुरुजन हमसे पूछे,

झट से उसे बतलाएं।

आगे रहें हरदम कक्षा में,

उत्तर अच्छे से बतलाएं।।

माता-पिता का रोशन करना नाम,

यह है सबसे पहले हमारा काम।

-ऋषि मोहन श्रीवास्तव

वर्षा जल

Hindi Poem For Class 3

चुन्नू मुन्नू गुड़िया रानी,

बरस रहा है ठंडा पानी।

पानी गिरा और चेहरे खिले,

वर्षा में नहीं करो नादानी।।

सरिता गीता रोहित आये,

सिर पर छाते खोले आये।

छपक-छपक कर चलते देखो,

चारों तरफ है गिरता पानी।।

झील सरोवर नदियां भर गईं,

हरियाली से धरती सज गई।

झींगुर दादुर पपीहा बोले,

मछली करती है मनमानी।।

कितनी सुन्दर वर्षा रानी,

सबको भाती लगे सुहानी।

पशु पक्षी भी मस्त हुए हैं,

वर्षा ऋतु की यही कहानी।।

-कमलसिंह चौहान

बिल्ली रानी

Hindi Poems For Class 3 Students

बिल्ली रानी बड़ी सयानी,

तुम खूब करती शैतानी।

कई चूहे पकड़े हैं उसने,

जैसे शेरनी की है नानी।

बिल्ली रानी बिल्ली रानी।।

बिल्ली मौसी नाम जुबानी,

म्याऊँ-म्याऊँ है गाया करती।

हर चूहे पर रौब जमाती,

दूध-मलाई चाट कर खाती।

बिल्ली रानी बिल्ली रानी।।

बिल्ली रानी करती मनमानी,

घर-घर ताक-झांक वह करती।

घूमे जैसे कोई महारानी,

दूर से आँखे ही चमकाती।

बिल्ली रानी, बिल्ली रानी।।

बचपन से ही करे नादानी,

जल्दी से हाथ नहीं है आनी।

कूद-फांद की शुरू कहानी,

खुद को समझे शेर की नानी।

बिल्ली रानी बिल्ली रानी।।

-खेमराज साहू

सूरज

Hindi Poems For Class 3 Students

भोर हुये सूरज आयेगा,

सारे जग को चमकायेगा।

सोता बच्चा जग जायेगा,

वो शाला पढ़ने जाएगा।

फूल चमन में खिल जायेगा,

तब भौंरा गुनगुन गायेगा।

जो सोता ही रह जायेगा,

वो फिर पीछे पछतायेगा।

-डॉ. तारा निगम

बुद्धिमान कहलाता है

Poem For Class 3

मिले फूल से फूल तो,

गुलदस्ता बन जाता है।

ईंट से ईंट जुड़े तो देखो,

सुन्दर घर बन जाता है।।

छोटी-छोटी जल की बूंदें,

सागर बन लहराती हैं।

मिट्टी के कण-कण से ही,

यह पृथ्वी बन जाती है।।

पल-पल छोटा लगता है पर,

इससे युग बन जाता है।

पल-पल का जो मोल समझता,

बुद्धिमान कहलाता हैं।।

-डॉ. रतिराम सिंह

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स्वतंत्रता दिवस पर कविता

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तितली

Poem For Class 3

रंग-बिरंगी तितली आती,

फूलों पर है यह इठलाती।

कहाँ से आती कहाँ है जाती,

कभी नहीं है यह बतलाती।

उड़ती-फिरती है यह आती,

सबका यह है मन सहलाती।

यहाँ-वहाँ यह उड़कर जाती,

बच्चों को खूब यह मचलाती।

-अंकुश्री

चाँद गुनगुनाया

Poem For Class 3

कोहरा छाया, सर्दी लाया।

धूप ने आकर, कर्ज चुकाया।।

सिर पर टोपी, भालू ने गाया।

कौवे ने आकर, शोर मचाया।।

चाट-पकौड़ा, सभी को भाया।

आ री निंदिया चाँद गुनगुनाया।

-राजेंद्र निशेश

प्यारा-प्यारा अपना देश

Hindi Poem For Class 3

जैसे नदियों का जल सागर,

में मिलकर हो जाता एक।

वैसे ही हर मानव रग में,

बहता रक्त सदा ही एक।

उसी तरह से धरती,

यहाँ वहाँ सब जगह एक।

भावनाएं एक हृदय की,

भाषाएं हैं किंतु अनेक।

रंग लहू का रहा एक है,

बहे एक-सी सदा समीर।

सब मानव, मानव धरती पर,

चाहे कोई रंक अमीर।

नाते-रिश्ते हैं समान जब,

फिर मानव में दूरी क्यों।

हिंसा नफरत वाली फिर है

ऐसी मजबूरी क्यों।

हरे-भरे ये पेड़ जुटाते,

सब जीवों को छाया एक।

प्रकृति मनोहर प्रेम लुटाती,

सब की सुन्दर काया एक।

तारे सबको शीतल करते,

सबका मामा चंदा एक।

देश हमारा एक सलौना,

मानव भी हैं एक।

भूल सकें हम भेदभाव गर,

बन जायेगा उपवन एक।

सभी फूल खुशबू फैलाते,

होते उनके रंग अनेक।

भारत माता के सपूत बन,

दें जग को ऐसा संदेश।

सारा विश्व कुटुम्ब है अपना,

प्यारा प्यारा अपना देश।

-डॉ. दिनेश चमोला

गोरी-गोरी धूप

Hindi Poems For Class 3 Students

उड़न खटोला,

सूरज का डोला।

चाँद के साथी,

तारे बने हाथी।

मुर्गे की बांग,

दिया सूरज टांग।

गोरी-गोरी धूप,

कैसा निखरा रूप।

-राजेंद्र निशेश

ठंड की रानी

3rd Class Hindi Poem

देखो ठंड की रानी आई,

बगिया अब फूलों से छाई।

चादर ओढ़ के हर कोई बैठा,

सूरज की किरणें शर्माई।।

जले अलाव वहाँ सब बैठे,

सूरज निकला फिर भी लेटे।

स्वेटर शाल की मांग बढ़ी,

ठंडी हवा ने दौड़ लगाई।।

फ्रिज कूलर कोने में दुबके,

सिसक रहे हैं चुपके-चुपके।

ठंड लगी उनको भी भारी,

सोनू ने चादर उढ़ाई।।

घंटी बजी और बच्चे भागे,

इन्हें मौसम का डर न लागे।

सहन करना सीखो इनसे,

घबराओ नहीं ठंड से भाई।।

-कमलसिंह चौहान

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नया साल आया

3rd Class Hindi Poem

नया साल आया,

नई खुशी लाया।

दो बधाई सभी को,

कोई नहीं पराया।।

सर्वहित शुभकामना,

शुभ मंगल याचना।

सबके प्रति मन में,

पर उपकारी भावना।।

सबके हित का भाव,

ना कोई दुर्भाव।

प्यार से रहें सब,

बने ऐसा स्वभाव।।

नई किरण नया साल,

हृदय रखें विशाल।

सबका करें भला.

सबका रखें ख्याल।।

-हरजीत निषाद

धरती देती सब कुछ

3rd Class Hindi Poem

धरती का आंगन।

लगता मन भावन।।

झरने झील नदियां।

यहाँ फूल कलियां।।

गन्ना गुड़ शहद।

पीपल केला बरगद।।

धरती है दयालु।

मिट्टी दोमट बालू।।

देती हमें सम्बल।

सोना चांदी पीतल।।

जल में है हलचल।

गंगा यमुना चम्बल।।

सुन्दर संगमरमर।

एक से एक बढ़कर।।

गाय भैंस ढोर।

कोयल चीता मोर।।

बुलबुल का चहकना।

गौरेया का फुदकना।।

धरती देती सब कुछ।

लेती नहीं कभी कुछ।।

-हरजीत निषाद

चींटी का व्यवहार

3rd Class Hindi Poem

काली लाल भूरी चींटी,

एक कतार में चलती चींटी।

आपस में ना टकराती हैं,

अनुशासन में रहती हैं चींटी।।

सबसे प्यार जताती चींटी,

संतुलन खुद बनाती चींटी।

सामने आती जब बाधाएं,

विनम्रता से राह बनाती चींटी।।

ट्रैंफिक का निपटान हो कैसे,

एक दूजे को सिखाती चींटी।

नहीं किसी से झगड़ा करती,

एकता का पाठ पढ़ाती चींटी।।

समझ बूझ और है संतुलन,

इनमें होता भीड़ प्रबंधन।

साथियों का साथ निभाती,

सूझवान होती है चींटी।।

-कमलसिंह चौहान

नन्हा पौधा बनता पेड़

Hindi Poem For Class 3 Competition

नन्हा पौधा बनकर पेड़,

देता है हरियाली ढेर।

फल-फूल नित हमको बांटे,

रोग-दोष सब यही छांटे।

आम-पीपल-नीम हो बेर,

देता है हरियाली ढेर।

छांव इसकी मिले भरपूर,

कभी न हो ये हमसे दूर।

पौधे लगाओ न हो देर,

देता है हरियाली ढेर।

कोमल पत्ते नरम डाली,

राग सुनाती कूहू काली।

न करो कभी इनसे छेड़,

नन्हा पौधा बनता पेड़।

-गोविन्द भारद्वाज

काले बादल आये

Hindi Poem Recitation Competition For Class 3

काले बादल नभ में छाये,

गर्जन करते नभ में आये।

झर-झर, झर-झर पानी बरसा,

वन में मोर नृत्य दिखलाये।

टर्र-टर्र, करते हैं मेंढ़क,

झींगुर भी झंकार सुनायें।

हरियाली छाये चहुं ओर,

सूरज आ ज्योति बिखराये।

ची-ची, चीं-चीं करते पक्षी,

नभ में उड़ते पंख फैलाये ।

चले किसान खेत की ओर,

बच्चे विद्यालय को धाये।

-राजन श्रीवास्तव

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